6,998
edits
JaspalSoni (talk | contribs) No edit summary |
JaspalSoni (talk | contribs) No edit summary |
||
Line 20: | Line 20: | ||
{{main-hi|Ascension chair|असेनशन चेयर}} (Ascension chair) | {{main-hi|Ascension chair|असेनशन चेयर}} (Ascension chair) | ||
एक सुनहरी कुर्सी है जिसे "आणविक गति वर्धक" भी कहा जाता है। इसके माध्यम से इलेक्ट्रॉनिक धाराएं [[Special:MyLanguage/four lower bodies|चार निचले शरीरों]] (four lower bodies) में पारित की जाती हैं जो अणुओं और इलेक्ट्रॉनों की कंपन क्रिया को बढ़ाती हैं। [[Special:MyLanguage/Brotherhood|महासंघ]] (Brotherhood) के अध्यात्मिक रास्ते पर चलने वाले वे मनुष्य जिन्होंने सेवा और प्रकाश के प्रति समर्पण से अपनी योग्यता सिद्ध की है और जो काफी मात्रा में अपने कर्मों को संतुलित कर चुके है,उन कर्मों के आधार पर संत जरमेन और [[Special:MyLanguage/Lords of Karma|कर्मों के देवी-देवता]] (Lords of Karma) | एक सुनहरी कुर्सी है जिसे "आणविक गति वर्धक" भी कहा जाता है। इसके माध्यम से इलेक्ट्रॉनिक धाराएं [[Special:MyLanguage/four lower bodies|चार निचले शरीरों]] (four lower bodies) में पारित की जाती हैं जो अणुओं और इलेक्ट्रॉनों की कंपन क्रिया को बढ़ाती हैं। [[Special:MyLanguage/Brotherhood|महासंघ]] (Brotherhood) के अध्यात्मिक रास्ते पर चलने वाले वे मनुष्य जिन्होंने सेवा और प्रकाश के प्रति समर्पण से अपनी योग्यता सिद्ध की है और जो काफी मात्रा में अपने कर्मों को संतुलित कर चुके है,उन कर्मों के आधार पर संत जरमेन और [[Special:MyLanguage/Lords of Karma|कर्मों के देवी-देवता]] (Lords of Karma) एक निर्धारित अवधि के लिए इस कुर्सी पर बैठने की अनुमति देते हैं। प्रकाश की गति चार निचले शरीरों में बढ़ने से कोई भी अपने कर्मों का एक हिस्सा संतुलित कर सकता है और केंद्र से दूर जाने वाली अणुओं की आवृत्ति (frequency) को तेज करके अशुद्ध तत्वों को बाहर निकाल सकता है। | ||
इस प्रकार व्यक्ति के चार निचले शरीरों को उत्थान की धाराओं में त्वरित कर आत्मा का उत्थानं किया जा सकता है। संत जर्मेन की छत्रछाया में कई जीवनधाराओं का आध्यात्मिक उत्थान इसी कमरे से हुआ है। | इस प्रकार व्यक्ति के चार निचले शरीरों को उत्थान की धाराओं में त्वरित कर आत्मा का उत्थानं किया जा सकता है। संत जर्मेन की छत्रछाया में कई जीवनधाराओं का आध्यात्मिक उत्थान इसी कमरे से हुआ है। |
edits