Translations:Michael and Faith/5/hi: Difference between revisions
(Created page with "बुक ऑफ़ रेवेलशन नामक पुस्तक में धर्मदूत जॉन ने लिखा है कि वो महादेवदूत माइकल ही थे जिन्होंने शैतान और उसके दूतों को स्वर्ग से पृथ्वी पर फेंका था।<ref>Rev. 12:7...") |
No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
[[Special:MyLanguage/Book of Revelation|बुक ऑफ़ रेवेलशन]] नामक पुस्तक में [[Special:MyLanguage/John the apostle|धर्मदूत जॉन]] ने लिखा है कि वो महादेवदूत माइकल ही थे जिन्होंने शैतान और उसके दूतों को स्वर्ग से पृथ्वी पर फेंका था।<ref>Rev. 12:7–9.</ref>इससे हमें ये पता चलता है की पतित | [[Special:MyLanguage/Book of Revelation|बुक ऑफ़ रेवेलशन]] नामक पुस्तक में [[Special:MyLanguage/John the apostle|धर्मदूत जॉन]] ने लिखा है कि वो महादेवदूत माइकल ही थे जिन्होंने शैतान और उसके दूतों को स्वर्ग से पृथ्वी पर फेंका था।<ref>Rev. 12:7–9.</ref>इससे हमें ये पता चलता है की पतित देवदूतों ने पृथ्वी पर मूर्त रूप धारण किया और ये ज्ञान के ये शत्रु अभी भी यहीं हैं। महादेवदूत माइकल और उनकी नीली किरणों के समूह ही मनुष्यों की [[Special:MyLanguage/Antichrist|आत्मिक ज्ञान]] के इन शत्रुओं से रक्षा करते हैं। |
Revision as of 13:41, 23 October 2023
बुक ऑफ़ रेवेलशन नामक पुस्तक में धर्मदूत जॉन ने लिखा है कि वो महादेवदूत माइकल ही थे जिन्होंने शैतान और उसके दूतों को स्वर्ग से पृथ्वी पर फेंका था।[1]इससे हमें ये पता चलता है की पतित देवदूतों ने पृथ्वी पर मूर्त रूप धारण किया और ये ज्ञान के ये शत्रु अभी भी यहीं हैं। महादेवदूत माइकल और उनकी नीली किरणों के समूह ही मनुष्यों की आत्मिक ज्ञान के इन शत्रुओं से रक्षा करते हैं।
- ↑ Rev. 12:7–9.